आचार्यों ने करायी प्राण-प्रतिष्ठा, भारत में मनी दीपावली, सजे मंदिर, प्रसाद वितरण
अयोध्या । 500 वर्षों का इंतजार खत्म हुआ। श्री अयोध्या धाम में सोमवार को दोपहर बाद अभिजीत मुहुर्त में प्राण प्रतिष्ठा के साथ ही रामलला अपने नवीन भवन में आसनपर विराजमान हो गये। प्राण प्रतिष्ठा प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने आचार्यों के निर्देशन में सम्पन्न करायी। इस अवसर पर प्रधानमंत्री के साथ मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ, राज्यपाल आनंदीबेन पटेल, आर.एस.एस. प्रमुख मोहन भागवत, महंत नृत्य गोपालदास के साथ ही अन्य सन्त भी गर्भगृह में उपस्थित रहे। प्राण प्रतिष्ठा के अवसर पर अयोध्या सहित पूरे देशके मंदिरों में रामोत्सवके बीच भव्य सजावट के साथ अनुष्ठान किये गये तथा राम भक्तोंमें प्रसादका वितरण किया गया। दुनियाके कई देशोंमें भी रामोत्सव की धूम रही। अमेरिका, कनाडा, आस्ट्रेलिया सहित विभिन्न देशों में भारतीय समुदाय के साथ स्थानीय लोगोंने भी श्री रामलला प्राण प्रतिष्ठा उत्सव में भाग लिया। प्रधानमंत्री ने गर्भगृह में चांदीका छत्र लेकर प्रवेश किया एवं प्राण प्रतिष्ठा के बाद आरती की। प्रधानमंत्री ने रामलला के विग्रह के समक्ष साष्टांग दंडवत किया। प्रधानमंत्री का मंदिर परिसर में पहुंचने पर मुख्य मंत्री योगी आदित्यनाथ ने स्वागत किया।
देश- विदेश से आये आठ हजार से अधिक विशिष्ट मेहमान इस अवसर के साक्षी बने। इसके बाद प्रधानमंत्री ने अवध धाम के कई मंदिरों में पूजा-अर्चन की। जटायु की प्रतिमा के समक्ष उन्होंने अपनी फोटो खिंचायी। अयोध्यामें सरयू का तट शाम होते ही पांच लाख दीयों से जगमग हो उठा। पूरा शहर विद्युत की सजावट से सतरंगी नजर आ रहा था। सभी रामभक्तों पर हेलीकाप्टर से पुष्प वर्षा की गयी। अयोध्या में रामलला की प्राण प्रतिष्ठा को लेकर ब्रज में भी अद्भुत उत्साह व उल्लास का माहौल है और कृष्ण की नगरी ‘राममय’ हो गई। योगिराज श्रीकृष्ण की नगरी में हर सड़क, चौराहे पर बस भगवान राम की प्राण प्रतिष्ठा की धूम मची रही।
मथुरा-वृन्दावन भी साज
मथुरा-वृन्दावन नगर निगम ने ऐसे में प्रमुख चौराहों पर विभिन्न कलाकृतियों और बिजली की झालरों से सजाया है। मथुरा में राम मंदिर की प्राण प्रतिष्ठा के मद्देनजर साज सजावट के साथ-साथ जगह-जगह भण्डारे के आयोजन किए गए। सरकारी स्तर पर भी कई कार्यक्रम आयोजित किए गये। महानगर के प्रमुख गोवर्धन चौराहे (अटल चौक) पर झांसी के सैंड आर्टिस्ट समीर द्वारा रेत से बनाई गई प्रभु श्रीराम के मंदिर की कृति देखते ही बन रही थी। रेत से बनी इस आकृति को देखने के लिए भारी भीड़ वहां उमड़ी रही। प्रभु श्रीराम के आगमन ने छोटे व्यापारियों की जनवरी माह में ही दिवाली करा दी। मिट्टी के दीपक, आकर्षक लाइटिंग की झालरें, झंडियां आदि की खूब बिक्री हुई। बाजार में दो दिन से ग्राहकों की खूब भीड़ दिखी।मथुरा में श्रीकृष्ण जन्मस्थान व वृन्दावन के ठाकुर बांकेबिहारी मंदिर सहित अन्य कई मंदिरों में भगवान श्रीकृष्ण ने सोमवार को प्रभु श्रीराम के रूप में दर्शन दिए। भगवान कृष्ण ने बांसुरी के साथ-साथ धनुष बाण भी धारण कर रखे थे।